विश्वविख्यात शिया धर्म गुरु मौलाना डाक्टर सैय्यद कल्बे सादिक साहेब का 83 वर्ष की आयु में कल रात लखनऊ के एरा मेडिकल कॉलेज में निधन हो गया। वह काफ़ी समय से बीमार चल रहे थे और बार बार उन्हें अस्पताल में भर्ती करवाया जाता था। निधन की सूचना मिलते ही उनके शुभ चिंतकों में जो पूरे विश्व में फैले हुए हैं, सोग कि लहर दौड़ गई।
दिवंगत मौलाना कहने को शिया धर्मगुरु थे मगर सच तो ये है कि वह इंसानियत के पैगंबर थे। वह स्वयं बड़े विद्वान और लखनऊ की गंगजमुनी तहज़ीब का प्रतीक थे। बहुमुखी प्रतिभा के प्रतीक डॉ कल्बे सादिक ने अपना पूरा जीवन इंसानियत की सेवा में गुज़ार दिया। वह वैज्ञानिक विचारधारा प्रगतिशील शिक्षा तथा विवेकशील परवर्ती के व्यक्तिव के मालिक थे। उनकी कथनी और करनी में कोई अंतर नहीं था उनकी सोच किसी वर्ग विशेष जाति या धर्म पर आधारित न थी।
उनके जीवन का मूल्यांकन कर यदि हम उनके कुछ गुण ही अपना लें तो हमारा निजी तथा सामाजिक दोनों जीवन ही सार्थक हो जाएंगे।
हम दिवंगत आत्मा की शांति के लिए ईश्वर से प्राथना करते हैं। तथा इस दुख की घड़ी में उनके परिजनों तथा उनके शुभ चिंतकों के प्रति अपनी संवेदना तथा सहानुभूति व्यक्त करते हैं। उसे को रुखसत किया पर यह मालूम न था - सब कुछ ले के गया घर छोड़ के जाने वाला ": इम्पार अध्यक्ष का मौलाना कल्बे सादिक़ के निधन पर शोक संदेश.
डॉ एम जे ख़ान
अध्यक्ष
इम्पार
ताज़ातरीन ख़बरें पढ़ने के लिए आप वतन समाचार की वेबसाइट पर जा सक हैं :
https://www.watansamachar.com/
उर्दू ख़बरों के लिए वतन समाचार उर्दू पर लॉगिन करें :
http://urdu.watansamachar.com/
हमारे यूट्यूब चैनल को सब्सक्राइब करना न भूलें :
https://www.youtube.com/c/WatanSamachar
ज़माने के साथ चलिए, अब पाइए लेटेस्ट ख़बरें और वीडियो अपने फ़ोन पर :
आप हमसे सोशल मीडिया पर भी जुड़ सकते हैं- ट्विटर :
https://twitter.com/WatanSamachar?s=20
फ़ेसबुक :
यदि आपको यह रिपोर्ट पसंद आई हो तो आप इसे आगे शेयर करें। हमारी पत्रकारिता को आपके सहयोग की जरूरत है, ताकि हम बिना रुके बिना थके, बिना झुके संवैधानिक मूल्यों को आप तक पहुंचाते रहें।
Support Watan Samachar
100 300 500 2100 Donate now
Enter your email address to subscribe and receive notifications of latest News by email.